पूर्व मुख्यमंत्री के सुविधाओं को समाप्त करने का स्वागत-
उत्तराखंड सरकार के मंत्रीमंडल द्वारा राजाओं की तरह सुविधा प्राप्त कर रहें पूर्व मुख्यमंत्रीयों के सुविधाओं को समाप्त करने का वाहिनी ने स्वागत किया है। अभी हाल में सूचना के अधिकार में मिली जानकारी के अनुसार उत्तराखंड के मुख्यमंत्रीयों ने पिछले वर्षो में 2 करोड़ रूपये का पिट्रोल अपने लिए खर्च कर लिया था।जबकि दूसरे और छोटे राज्य में वित्तिय संकट छाया हुआ है ,चिकित्सा ,शिक्षा,यातायात का बुरा हाल है भयानक बेरोजगारी है ,लेकिन हमारे जनप्रतिनिधि राजाओं की तरह सुविधा ले रहे हैं तो जनता का आक्रोशित होना स्वाभाविक है,जनप्रतिनिधियों को तो जनता की सेवक की तरह व्यवहार करना चाहिए न की मालिक की तरह।
उत्तराखंड को तत्काल यह कदम भी उठाना चाहिए की जिस तरह लालटेन दी जाती है उसी तरह से उत्तराखंड सरकार लाल बत्ती बाट रही है यह उत्तराखंड सरकार के लिए घातक है क्योंकि रावत सरकार को यह याद करना चाहिए की लाल बत्ती से उपजे आक्रोश ने एन0डी0सरकार को जमीन में उतार दिया था। रावत सरकार अपने खाश लोगों को लालबत्ती प्रदान कर जनता पर दबाव बनाना चाह रही है लेकिन ठेकेदारों को लालबत्ती देकर ,सरकार के प्रति जनता में गुस्सा बढ़ रहा है,क्योंकि लाल बत्ती जनता की सेवा के लिए नही ,बल्की जनता को धमकाने के लिए अधिक कारगर हो रहा है।प्रशासन में भी लालबत्ती का खोैेफ बना रहता है।इस लाल बत्ती के कारण जहॅंा प्रशासन पंगु बन जाता है,वही जनता का उत्पीड़न बढ़ जाता है,तथा कानून व्यवस्था चैपट हो जाती है। लाल बत्ती के सामने पुलिस पंगु बनी रहती है। अपराधी अधिक सशक्त हो जाते हैं इसलिए सरकार इस गलतपहमी में ना रहें कि उसका जनआधार बढ़ रहा है बल्की जनआक्रोश बढ़ रहा है। जो सरकार को जमीन में भी ला सकता है।
उत्तराखंड को तत्काल यह कदम भी उठाना चाहिए की जिस तरह लालटेन दी जाती है उसी तरह से उत्तराखंड सरकार लाल बत्ती बाट रही है यह उत्तराखंड सरकार के लिए घातक है क्योंकि रावत सरकार को यह याद करना चाहिए की लाल बत्ती से उपजे आक्रोश ने एन0डी0सरकार को जमीन में उतार दिया था। रावत सरकार अपने खाश लोगों को लालबत्ती प्रदान कर जनता पर दबाव बनाना चाह रही है लेकिन ठेकेदारों को लालबत्ती देकर ,सरकार के प्रति जनता में गुस्सा बढ़ रहा है,क्योंकि लाल बत्ती जनता की सेवा के लिए नही ,बल्की जनता को धमकाने के लिए अधिक कारगर हो रहा है।प्रशासन में भी लालबत्ती का खोैेफ बना रहता है।इस लाल बत्ती के कारण जहॅंा प्रशासन पंगु बन जाता है,वही जनता का उत्पीड़न बढ़ जाता है,तथा कानून व्यवस्था चैपट हो जाती है। लाल बत्ती के सामने पुलिस पंगु बनी रहती है। अपराधी अधिक सशक्त हो जाते हैं इसलिए सरकार इस गलतपहमी में ना रहें कि उसका जनआधार बढ़ रहा है बल्की जनआक्रोश बढ़ रहा है। जो सरकार को जमीन में भी ला सकता है।
-शमशेर सिंह बिष्ट
09412092061
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